अब तक पर्यावरण का जो नुकसान हो चुका है, उसका परिणाम हम सब लगातार भुगत रहे हैं, लेकिन शायद हमने अभी भी अपनी गलतियों से कुछ सीखा नहीं है। जब आने वाली पीढ़ी सवाल करेगी हमसे तो क्या जवाब देंगे? हम हैं आशावादी, यानी जब जागो तभी सवेरा। आइए प्रण लेते हैं कि हम सब अब अपनी माटी अपनी धरती को फिर से धानी रंग में रंग देंगे। आने वाली पीढ़ी को ज्यादा से ज्यादा बेहतर पर्यावरण मिले इसके लिए हमारी टीम की तरफ से पौधों का वितरण किया जाएगा, इसकी शुरुवात मानसून के आगमन के साथ हो जाएगी। हमारी टीम की कोशिश है कि कम से कम 10 हजार पौधे इस बार लगाए जाएं। अगर आप भी पौधा लगाना चाहते हैं तो हमें बताएं, पौधे आपके घर तक निशुल्क पहुंचा दिए जाएंगे चाहे आप कितनी भी संख्या चाहते हों। फलदार एवं इमारती सभी तरह के पौधे।
आइए मिल कर मानसून का स्वागत भी करें और पर्यावरण को सुरक्षित रखने के दायित्व का वहन भी करें।
लेख : सन्नी शुक्ला, पलामू
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